Delhi Mumbai Expressway

 दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे 

(Delhi-Mumbai Expressway)

Delhi-Mumbai Expressway


देश का सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे कौन सा है? ऐसी जिज्ञासा सभी को होती है। आज हम अपने लेख में दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे के बारे में जानेंगे। जो भारत ही नहीं बल्कि एशिया का सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे होगा।


भारत में निर्माणाधीन एक एक्प्रेसवे ‘‘दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे’’ यह एक्सप्रेसवे देश की राजधानी दिल्ली को Financial Capital  कहे जाने वाले मुंबई शहर को जोड़ेगा। इस एक्प्रेसवे के बन जाने के बाद दिल्ली-मुंबई के बीच की दूरी जिसमें पहले लगभग 24 घंटे का समय लगता था वह अब महज 12 घंटों का सफर हो जायेगा। आज हम इस लेख में जानेंगे इस एक्सप्रेसवे के बारे में कुछ महत्वपूर्ण तथ्यों को। 


World's Longest Expressway


एशिया का सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे -

भारत में ‘‘दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे’’ का निर्माण कार्य जारी है। यह एशिया का सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे होगा। भारत में बन रहे इस एक्सप्रेसवे की आधारशिला 08 मार्च, 2019 को रखी गई। इस परियोजना को पूरा करने में लगभग 98000 करोड़ रूपये की लागत आयेगी। इस परियोजना पर कार्य बहुत तेजी से चल रहा है तथा मार्च, 2023 तक इसको पूरा कर लेने का लक्ष्य निर्धारित है तथा परिवहन के लिए खोला जा सकता है। यह परियोजना का कार्य पूरा होने के बाद भारत में बनने वाला एक्सप्रेसवे एशिया का पहला तथा विश्व का दूसरा सबसे बड़ा एक्सप्रेसवे होगा। 


महत्वपूर्ण तथ्य - Important Facts

  • लम्बाई - 1350 किमी0
  • लेन की संख्या - 8 लेन (भविष्य में इसे 12 लेन तक विस्तार किया जा सकेगा)
  • जेवर एयरपोर्ट से बल्लभगढ़ तक करीब 30 किलो मीटर का स्पर्श बनाया जायेगा।
  • बड़ोदरा-मुंबई एक्सप्रेसवे जो निर्माणाधीन है इसे भी इसी परियोजना में शामिल किया गया है।


एक्सप्रेसवे की दूरी को जानते हैं -

  • मुख्य रूप से इस एक्सप्रेसवे की लम्बाई सोहना-विरार तक 1198 किलो मीटर की है।
  • इसके दो स्पर्स भी बनाये जायेंगे - जिससे इसकी लम्बाई बढ़कर 1350 किलोमीटर हो जाती है।

(1) डीएनडी-फरीदाबाद-केएमपी - 59 किलोमीटर

(2) विरार-जेएनपीटी - 92 किलोमीटर


प्रमुख राज्य जिससे यह एक्प्रेसवे गुजरेगा -

  • दिल्ली - हरियाणा - राजस्थान - मध्य प्रदेश - गुजरात - महाराष्ट्र


प्रमुख शहर जिससे यह एक्प्रेसवे गुजरेगा -

  • नई दिल्ली, फरीदाबाद, बल्लभगढ़, सोहना, अलवर, दौसा, सवाई माधोपुर, कोटा, मंदसौर, रतलाम, गोधरा, बढ़ोदरा, भरूच, सूरत, वलसाड़, वापी, विरार, मुंबई


कैसा होगा यह एक्सप्रेसवे - 

  • यह एक्सप्रेसवे आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित होगा।
  • इसके किनारे फ्यूल स्टेशन, रेस्टोरेन्ट, पार्किंग इत्यादि बनाये जायेंगे जिससे एक्सप्रेसवे पर यात्रा कर रहे लोगों को सुविधा मिलेगी।
  • वर्तमान में यह 8 लेन का होगा। 
  • इसमें भविष्य में विस्तार के लिए 4 लेन की जगह आरक्षित की जायेगी।
  • पर्यावरण को ध्यान में रखते हुए इस एक्सप्रेसवे के दोनो तरफ वृक्षारोपण की व्यवस्था की जायेगी। 
  • इसके कन्सट्रक्शन के लिए करीब 15 हजार हेक्टेयर की जमीन का अधिग्रहण किया जा चुका है।
  • इसमें रास्ते में आने वाले जंगल के बीच में वाइल्ड लाईफ मूवमेंट जारी रहेगी।
  • किसी भी प्रकार की दुर्घटना होने पर एयर एम्बुलेंन्स की व्यवस्था भी की जायेगी।


एक्सप्रेसवे बनने के फायदे क्या होंगे ? 

अंतता जब यह एक्सप्रेसवे बनकर तैयार हो जायेगा तो इसके क्या फायदे होंगे -

  • सबसे पहले तो लोगों को दिल्ली से मुम्बई जाने वाले यात्रियों को कम समय में यात्रा की सुविधा होगी। तथा साथ ही साथ इसके रास्ते में पड़ने वाले शहरों के लिए भी आवागमन सरल होगा।
  • ऐसा अनुमान है कि करीब 32 करोड़ लीटर ईंधन की बचत होगी।
  • 85 करोड़ किलोग्राम कार्बन डाईऑक्साईड कम पैदा होगी। जिससे पर्यावरण को लाभ मिलेगा।
  • रास्ते में आने वाले जंगल में वाइल्ड लाईफ मूवमेंट जारी रहे, जिसके लिए मुकंदरा नेशनल पार्क के नीचे 4 किलोमीटर लम्बी सुरंग बनाई जायेगी। ऐसी ही सुरंग महाराष्ट्र के माथेराम इको सेंसिटिव जोन के नीचे भी बनाई जायेगी। 


निष्कर्ष -

अंतता भारत की राजधानी से देश की आर्थिक राजधानी को जोड़ने वाला एक्सप्रेसवे दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेसवे जल्द ही बनकर तैयार हो जायेगा तथा आवागमन के लिए खोला जायेगा। आशा है कि इस लेख में दी गयी जानकारी आप सभी को पसंद आयेगी। 


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